प्रदेश में निजी शिक्षण संस्थाएं न तो ट्यूशन फीस बढ़ा सकेंगी और न ही कोई कोई अन्य शुल्क ले सकेंगे। ट्यूशन फीस भी पिछले साल के अनुसार ही रहेगी। इसे बढ़ाया नहीं जाएगा। यह निर्देश मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सोमवार को मंत्रालय में वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से जिला, विकासखंड, ग्राम और वार्ड स्तरीय आपदा प्रबंधन समूहों को संबोधन के दौरान कलेक्टरों को दिए। साथ ही कहा कि कोरोना की तीसरी लहर को रोकने की तैयारियों के साथ रोजगार से जुड़े कामों को तेजी के साथ प्रारंभ करें। सीएम ने कहा कि प्रदेश में तीसरी लहर की स्थिति पर नजर रखी जा रही है। जैसी स्थिति बनेगी, उसी के अनुरूप स्कूल खोलने का निर्णय लिया जाएगा।
बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें इस बात को अच्छी तरह से समझ लेना होगा कि बिना मास्क के घूमना तीसरी लहर को आमंत्रित करना है। मध्य प्रदेश में कोरोना नियंत्रण में है और यहां का आपदा प्रबंधन समूह का पूरे देश में मॉडल बनकर उभरा है। इसी मॉडल पर काम करते हुए प्रदेश में तीसरी लहर के प्रभाव को नगण्य कर देना है। कोरोना ने हमारी अर्थव्यवस्था, व्यापार-व्यवसाय लोगों की आजीविका को बुरी तरह से प्रभावित किया है।
रोजगार के अवसर बढ़ाना इस समय सबसे बड़ी चुनौती है। सरकार विभिन्न् माध्यमों से प्रतिमाह एक लाख रोजगार के अवसर सृजित करने का प्रयास करेगी। समूह के सभी सदस्य अपने क्षेत्रों में राशन वितरण के काम की निगरानी करें। नवंबर तक हितग्राही परिवार के प्रत्येक सदस्य को 10 किलो राशन थैले में दिया जाएगा। उन्होंने कलेक्टरों से कहा कि कहीं भी भीड़ भरे आयोजन न हों और 50 व्यक्तियों की अधिकतम सीमा का सख्ती से पालन किया जाए। 19 ऑक्सीजन संयंत्र प्रारंभ हो गए हैं और बाकी दो माह में तैयार हो जाएंगे।
प्रदेश के शासकीय अस्पताल और चिकित्सा महाविद्यालयों में अगले दो माह में 17 हजार 827 ऑक्सीजनयुक्त बिस्तर हो जाएंगे। अभी यह संख्या 14 हजार 13 हैं। आइसीयू बेड की संख्या भी तीन हजार 776 से बढ़कर चार हजार 771 हो जाएंगे। सभी जिला चिकित्सालयों में अगले दो माह में 520 शिशु आइसीयू बेड हो जाएंगे। स्वास्थ्य संस्थाओं में दो हजार 112 वैंटीलेटर उपलब्ध हैं। प्रदेश में कोरोना के इलाज के लिए पर्याप्त दवाएं हैं। एक लाख रेमडेसिविर इंजेक्शन हैं।